Friday, June 27, 2025
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Kerala daily wagers daughter S Aswathy cracks UPSC IAS exam in fourth attempt with 481 rank – दिहाड़ी मजदूर की बेटी ने UPSC परीक्षा को ऐसे किया था पास, राइटिंग प्रैक्टिस पर दिया था खास ध्यान, Education News


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UPSC Success Story 2024: कहते हैं अगर दिल से मेहनत करो, तो वह कभी खाली नहीं जाती और जिंदगी में उसका फल जरूर मिलता है। यूपीएससी की तैयारी करने वाले हर एक उम्मीदवार इस परीक्षा को पास करने के लिए दिन रात मेहनत करते रहते हैं। किसी को सफलता मिलती है तो कोई लगातार असफलता के बाद अपना मुकाम हासिल कर ही लेता है। आज जिस शख्स के बारे में बताने जा रहे हैं, उन्होंने इस परीक्षा में कई बार हार का मुंह देखा, लेकिन अपने हौसलों को डगमगाने नहीं दिया और मंजिल की ओर बढ़ती रहीं। हम बात कर रहे हैं, एस अश्वथी के बारे में, जिन्होंने चौथे प्रयास में यूपीएससी की परीक्षा में सफलता हासिल की थी।

एस अश्वथी तिरुवनंतपुरम, केरल से हैं, और एक दिहाड़ी मजदूर की बेटी हैं। जब वह आठवीं कक्षा की छात्रा थी तभी से उन्होंने आईएएस अधिकारी बनने का सपना देखा था। स्कूली पढ़ाई पूरी होने के बाद उन्होंने इंजीनियरिंग को चुना और तिरुवनंतपुरम के सरकारी बार्टन हिल इंजीनियरिंग कॉलेज में दाखिला ले लिया। बता दें, टीसीएस कोच्चि में नौकरी मिलने के बाद वह अपने फाइनल ईयर में उन्होंने यूपीएससी की तैयारी शुरू कर दी थी।

अश्वथी ने नौकरी के साथ-साथ ही यूपीएससी की तैयारी शुरू की थी। हालांकि वह जानती थी, कि इस परीक्षा की तैयारी के लिए पूरा समय चाहिए होता है, जिसके बाद उन्होंने साल 2017 में अपनी आईटी नौकरी छोड़ने का निर्णय लिया। उस समय ये फैसला उनके लिए मुश्किल था। क्योंकि नौकरी से अच्छी खासी सैलरी आती थी, जिनसे उनका घर चलता, लेकिन अश्वथी जानती थी कि अगर परीक्षा में सफल होना हैं तो कुछ कड़े कदम उठाने होंगे। बता दें, उन्होंने तिरुवनंतपुरम में कई प्राइवेट अकादमियों के साथ-साथ केरल राज्य सिविल सेवा अकादमी में दाखिला लिया था।

अश्वथी ने समाचार एजेंसी एएनआई के साथ एक इंटरव्यू में बताया, कि साल 2020 का प्रयास उनका चौथा प्रयास था। जिसमें उन्होंने 481 रैंक के साथ सफलता हासिल की थी। बता दें, वह UPSC के शुरू के तीनों प्रयास में असफल रही थी। हालांकि इस परीक्षा में असफल होने के बावजूद भी उन्होंने काफी कुछ सीखा। अश्वथी ने बताया. “भले ही मैं शुरुआत के तीन प्रयास में असफल रही, लेकिन इस हार को मैंने  अपने ऊपर हावी नहीं होने दिया और अपने चौथे प्रयास देने का फैसला किया। जिसके बाद मैंने परीक्षा पास कर ली “

अश्वथी ने कहा, “इस परीक्षा को पास करने के लिए, मैंने राइटिंग प्रैक्टिस और स्टडी मैटेरियल में सुधार करने पर ज्यादा फोकस किया। ये मेरे फाइनल परीक्षा के लिए काफी जरूरी हिस्सा था, ताकि जब मैं पढ़ने लगूं तो मुझे टॉपिक्स आसानी से समझ आए और मैं फाइनल परीक्षा में अच्छा लिख सकूं”

अश्वथी की सफलता ने उनके पिता प्रेम कुमार को बहुत गर्व और खुशी दी है, जिन्होंने कहा, “मैं बहुत खुश हूं। कठिन परिस्थितियों में, उसने सिविल सेवा परीक्षा पास की। मुझे उस पर गर्व है। वह अपनी पढ़ाई में हमेशा से अच्छी थी।” उनका छोटा भाई एक आईटी कंपनी में काम करता है और उनकी मां श्रीलता पी एक हाउस मेकर हैं।

 



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