Thursday, June 26, 2025
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Cyber Scam: साइबर ठगी से बचने के लिए भरतपुर में लोगों का अनोखा कदम, सामूहिक तौर पर जलाए मोबाईल और सिम



 भरतपुर. राजस्थान के डीग जिले के मेवात क्षेत्र के पालड़ी गांव में एक अनोखी पहल सामने आई है. यहां साइबर अपराध और अन्य गैरकानूनी गतिविधियों में शामिल लोगों को सुधारने और समुदाय को अपराध मुक्त बनाने के उद्देश्य से गांव के जिम्मेदार लोगों ने एक ऐतिहासिक कदम उठाया है. पुलिस और स्थानीय प्रशासन की सक्रियता के चलते ग्रामीणों ने यहां साइबर अपराध के खिलाफ एकजुट होकर ठोस निर्णय लिया है.

ठगी में इस्तेमाल होने वाले मोबाइल फोन और सिम कार्ड नष्ट
डीग के पालड़ी, कनवाड़ी और सतवास गांवों मे 29 दिसंबर को गांव के प्रतिनिधियों की पंचायत हुई थी.  इसमें कामां थानाधिकारी मनीष शर्मा भी मौजूद थे. पंचायत में यह फैसला लिया गया कि साइबर ठगी और गौ तस्करी जैसी गतिविधियों में लिप्त लोगों को पकड़कर पुलिस को सौंपा जाएगा. इसके अलावा ठगी में इस्तेमाल होने वाले मोबाइल फोन और सिम कार्ड नष्ट करने का निर्णय लिया गया. पंचायत में गांव की सुरक्षा और अपराध पर निगरानी रखने के लिए 15 सदस्यों की एक समिति बनाई गई जिसने सक्रियता से काम करते हुए इस प्रयास को सफल बनाया है.

सकारात्मक बदलाव की पेश की मिशाल 
सात दिनों की कड़ी मेहनत के बाद निगरानी समिति ने साइबर ठगी में इस्तेमाल 47 फर्जी मोबाइल फोन  और फर्जी सिम कार्ड को इकट्ठा कर इन उपकरणों को हथोड़े से तोड़ने के बाद सार्वजनिक रूप से आग में जला दिया गया. इस दौरान ग्रामीणों ने सामूहिक रूप से भविष्य में साइबर ठगी और अन्य अपराधों से दूर रहने की शपथ ली. गांव के लोगों का यह प्रयास न केवल उनकी जिम्मेदारी को दर्शाता है बल्कि समाज में सकारात्मक बदलाव की मिसाल भी पेश करता है.

अपराध दर में आएगी कमी 
डीग एसपी राजेश मीणा ने इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि पुलिस और ग्रामीणों के सामूहिक प्रयासों से अपराधों पर लगाम लगाई जा सकती है. उन्होंने मेवात के अन्य गांवों को भी इस तरह की पहल करने के लिए प्रेरित किया है. पालड़ी, कनवाड़ी और सतवास जैसे गांवों में पहले अपराधों का ग्राफ काफी ऊंचा था लेकिन अब ग्रामीणों की इस पहल से एक नई उम्मीद जगी है. अब इस पहल से इन इलाकों में अपराध दर में कमी आएगी. यह सामूहिक प्रयास न केवल अपराधियों को सुधरने का मौका है बल्कि समाज में एक नई चेतना और जिम्मेदारी का संदेश भी देता है. मेवात के इन गांवों की यह पहल पूरे क्षेत्र के लिए प्रेरणादायक बन गई है.

FIRST PUBLISHED : January 7, 2025, 16:55 IST



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